कुख्यात और इनामी डकैत गौरी यादव का खेल खत्म, UP एसटीएफ ने किया ढेर
यूपी एसटीएफ की टीम ने चित्रकूट में एक एनकाउंटर में डकैत गोरी यादव को मार गिराया है. गौरी यादव पर पांच लाख से ज्यादा का इनाम घोषित था. एसटीएफ ने गौरी यादव के पास से कई हथियार बरामद किए हैं.
चित्रकूट : यूपी और मध्यप्रदेश पुलिस के लिए सिरदर्द बन चुका कुख्यात डकैत गौरी यादव का खेल खत्म हो गया। ADG अमिताभ यश की अगुवाई में चित्रकूट में STF को बड़ी कामयाबी मिली। चित्रकूट में आज तड़के 3.30 बजे एसटीएफ की एक टीम का गौरी यादव गैंग से एनकाउंटर हुआ। एसटीएफ की टीम ने इस एनकाउंटर में डकैत गौरी यादव को मार गिराया। गौरी यादव पर उत्तर प्रदेश और मध्यप्रदेश की तरफ से साढ़े 5 लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया था। एसटीएफ को मौके से एके-47 समेत कई असलहे बरामद हुए हैं।
2005 में बनाया था अपना गैंग
गौरी यादव के खौफ का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि कई इलाकों में उसके नाम से ही दहशत थी। ददुआ और ठोकिया के बाद बीहड़ में गौरी यादव एक बड़ा डकैत बन चुका था। 20 साल पहले जब गौरी यादव ने अपराध जगत में प्रवेश किया था तो वह एक गैंग में शामिल हुआ था और 2005 में उसने अपना अलग गैंग बना लिया। जब ददुआ और ठोकिया मारे गए तो 2009 में गौरी यादव भी गिरफ्तार हो गया बाद में उसे जमानत मिल गई।
इस साल जुलाई में 5.50 लाख किया था इनाम
चित्रकूट जिले के फरार डकैत गौरी यादव के सिर पर उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश शासन ने इस साल जुलाई में संयुक्त रूप से साढ़े पांच लाख रुपये का इनाम घोषित किया था। गौरी यादव पर उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश में हत्या, अपहरण, फिरौती तथा सरकारी काम में बाधा डालने के लगभग 50 मामले दर्ज थे। वह चित्रकूट जिले के बहिलपुरवा थाना क्षेत्र के बेलहरी गांव का रहने वाला था। उसकी तलाश में कई पुलिस टीमें लगी थीं।
दरोगा सहित तीन लोगों को गोलियों से भून दिया था
डकैत गौरी यादव ने मई 2013 में दिल्ली से मामले की जांच करने पहुंचे दारोगा की हत्या कर दी थी। इसके बाद मई 2016 में गोपालगंज में तीन ग्रामीणों को खंभे से बांधकर गोली मार दी थी। इसके बाद उत्तर प्रदेश के तत्कालीन डीजीपी जावेद अहमद ने गौरी पर एक लाख रुपए का इनाम घोषित किया था।
मिले भारी हथियार
खबर के मुताबिक मुठभेड़ के दौरान गौरी यादव के पास से एके 47 सहित कई हथियार भी बरामद हुए हैं। हथियारों में राइफल, कारतूस और अन्य हथियार भी शामिल हैं। दरअसल एसटीएफ को सूचना मिली थी कि गौरी यादव गांव में छिपा है जिसके बाद एसटीएफ ने अपना ऑपरेशन शुरू किया और मुठभेड़ के बाद गौरी यादव को मार गिराया।