मेरठ: किसान ने खुद को लगाई आग, मामले को लेकर अखिलेश प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए बोले- किसान भाजपा का दाना-पानी उठा देंगे
आग लगाने की सूचना मिलने पर मौके पर मौजूद एसडीएम अखिलेश यादव और सीओ पेशी में तैनात सिपाही सचिन शर्मा ने दौड़कर आग बुझाने का प्रयास किया और आनन फानन में किसान को सीएचसी भर्ती कराया। जहां किसान की हालत अति गंभीर होने के चलते जिला अस्पताल रेफर कर दिया गया है। जहां उसकी हालत नाजुक बनी हुई है।
मेरठ में सरकारी अफसरों की लापरवाही के चलते एक किसान ने खुद को आग लगा ली। वहीं अब इस पूरे मामले में सपा मुखिया और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भाजपा को घेरा है। अखिलेश ने कहा है कि भाजपा किसान विरोधी पार्टी है, भाजपा की नजर किसानों की जमीन के साथ उनके खेतों में होने वाली पैदावार पर भी है।
क्या है पूरा मामला
बता दें कि थाना हस्तिनापुर के गांव अलीपुर मोरना गांव में वन विभाग की जमीन से अतिक्रमण हटाए जाने से क्षुब्ध किसान ने शुक्रवार को तहसील पहुंचकर पेट्रोल छिड़ककर आत्मदाह का प्रयास किया। एसडीएम अखिलेश यादव व सीओ पेशी में तैनात सिपाही सचिन शर्मा ने बड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। आग में झुलसे किसान को सीएचसी भिजवाया गया है, लेकिन हालत गंभीर होने के कारण किसान को जिला अस्पताल के लिए रेफर कर किया।
वन विभाग की जमीन पर कब्जे को लेकर है मामला
वन विभाग की जमीन पर कब्जे की शिकायत की गई थी कि हस्तिनापुर थाना क्षेत्र के गांव अलीपुर में वन विभाग की जमीन पर पिछले कई सालों से किसान अवैध तरीके से काबिज हैं। कई किसान सालों से जमीन पर अवैध रूप से कब्जा कर खेती कर रहे हैं।
शिकायत पर गुरुवार को वन विभाग की टीम ने जमीन पर कब्जा लेने के उद्देश्य से गेहूं की खड़ी फसल जोत दी। इससे क्षुब्ध कई किसान शुक्रवार को वन विभाग की शिकायत लेकर एसडीएम के पास पहुंचे। वन विभाग की कार्रवाई से परेशान 40 वर्षीय किसान जगबीर पुत्र धनपाल ने तहसील में एसडीएम कार्यालय के पास टीन शेड में जाकर पेट्रोल छिड़ककर आग लगा ली।