स्वास्थय: कोरोना से ठीक हुए पुरुषों को पिता बनने में मुश्किल, स्पर्म काउंट में आई कमी
जिस पुरुष को कोरोना हुआ है, उसके पिता बनने की संभावना कम हो जाती है। इसका दावा IIT मुंबई की एक रिसर्च में किया गया है, जसलोक अस्पताल की डॉ. फिरोजा पारिख कहती हैं, 'कोविड के लिए जिम्मेदार SARS-CoV-2 Virus मुख्य रूप से रेस्पिरेटरी सिस्टम को प्रभावित करता है जिसका बुरा असर बच्चा पैदा करने की क्षमता पर पड़ा है।
कोरोना का असर मर्दों की प्रजनन क्षमता पर पड़ता है। यानी जिस पुरुष को कोरोना हुआ है, उसके पिता बनने की संभावना कम हो जाती है। इसका दावा IIT मुंबई की एक रिसर्च में किया गया है। रिसर्च के मुताबिक कोरोना वायरस संक्रमण पुरुषों के रिप्रोडक्टिव सिस्टम (प्रजनन क्षमता) पर असर डाल रहा है। यानी कोरोना वायरस के हल्के लक्षण भी पुरुषों के स्पर्म काउंट (शुक्राणुओं की संख्या) को कम कर रहे हैं।
जानें क्या है वजह
इस रिसर्च में जसलोक हॉस्पिटल मुंबई की टीम ने भी भाग लिया है। जसलोक अस्पताल की डॉ. फिरोजा पारिख कहती हैं, 'कोविड के लिए जिम्मेदार SARS-CoV-2 Virus मुख्य रूप से रेस्पिरेटरी सिस्टम को प्रभावित करता है। यही वायरस काेरोना के हल्के संक्रमण से उबरे पुरुषों के प्रजनन अंगों में पाया गया। इसकी वजह से स्पर्म में प्रोटीन की मात्रा कम हुई, जिसका बुरा असर बच्चा पैदा करने की क्षमता पर पड़ा है।'
स्पर्म काउंट क्या होता है
पुरुषों का प्रजनन सिस्टम स्पर्म (शुक्राणु) बनाता है, जो हर टेस्टिकल्स (अंडकोष) के अंदर सीमन नलिकाओं में बनता है। स्पर्म के ऊपरी हिस्से में DNA होता है, जो महिला के अंडे के DNA के साथ मिलकर बच्चे का निर्माण करता है।आमतौर से हेल्दी स्पर्म के लिए 6 क्राइटेरिया हैं, लेकिन उनमें से जो दो सबसे अहम हैं, वो हैं स्पर्म काउंट और स्पर्म मोर्टेलिटी। WHO के मुताबिक प्रति मिलीलीटर सीमन में स्पर्म की संख्या 1.5 से 3.9 करोड़ हो तो उसे नॉर्मल माना जाता है।
बांझपन के शिकार पुरुष क्यों होते हैं
पुरुषों में पाए जाने वाले Y क्रोमोसोम (गुणसूत्र) में कई जीन होते हैं। ये स्पर्म बनाते हैं और उसकी क्वालिटी मेंटेन करते हैं। Y क्रोमोसोम में ये जीन्स जब गायब या नष्ट होने लगते हैं, तब स्पर्म कम बनने लगते हैं। इस वजह से पुरुषों में इनफर्टिलिटी की प्रॉब्लम बढ़ने लगती है।
शुक्राणुओं की कम संख्या की वजह से नहीं बन सकते पिता
इंदिरा IVF की डॉ. रीमा सिरकार कहती हैं, ‘शुक्राणुओं की कम संख्या की वजह से कई बार पुरुष पिता नहीं बन सकते हैं। ऐसे में महिला को बच्चे कंसीव करने में दिक्कत हो सकती है। बच्चे पैदा न होने का यह एक मुख्य कारण हो सकता है। इसलिए मां न बनने का दोष महिला साथी को देने की जगह पुरुषों को अपनी स्पर्म क्वालिटी सुधारने पर भी ध्यान देना चाहिए।’
इन चीजों से भी कम होता स्पर्म काउंट
टाइट पैंट और अंडरगार्मेंट्स- टाइट पैंट और अंडरगार्मेंट पहनने से पुरुषों के अंडकोष यानी टेस्टिकल्स पर प्रेशर पड़ता है। टेस्टिकल्स गर्म होने लगता है और गर्मी उसके लिए नुकसानदेह होती है। याद रखें कि अंडकोष का शरीर से बाहर होने का एकमात्र कारण यही है कि उनमें ठंडक बनी रहे।
मोटापा- एक्सपर्ट बताते हैं कि जब शरीर में फैट ज्यादा जम जाता है, तब स्पर्म की संख्या कम होने लगती है। मोटापे की वजह से टेस्टोस्टेरोन के स्तर में कमी आती है। इसलिए जिन लोगों का वजन ज्यादा है, उन लोगों को वजन कम करना चाहिए। इससे स्पर्म काउंट बढ़ेगा और उनकी प्रजनन क्षमता को बढ़ाने में मदद मिलेगी।
योग से भी बढ़ सकता है स्पर्म काउंट
- धनुरासन: यह आसन स्पर्म क्वालिटी में सुधार करके आपकी प्रजनन क्षमता पर सकारात्मक प्रभाव डाल सकता है।
- अग्निसार क्रिया: यह स्पर्म को हेल्दी रखने के लिए सबसे पुराने और सबसे फायदेमंद योग में से एक माना जाता है।
- सेतुबंधासन: यह आसन आपके स्पर्म मोर्टिलिटी को बढ़ाने में मदद करने के लिए सबसे अच्छे आसनों में से एक है।
- हलासन: यह एक और शानदार आसन है, जो अपकी पूरी हेल्थ के लिए लाभकारी है। साथ ही यह आपके स्पर्म काउंट में भी सुधार लाता है।
- पद्मासन: सबसे लोकप्रिय योग में से एक है। पद्मासन को अपार लाभों के कारण योग का पोस्टर चाइल्ड माना जाता है।
10 हेल्दी और 17 हल्के कोरोना संक्रमण वाले पुरुषों पर किया गया रिसर्च
IIT मुंबई की इस रिसर्च में 10 हेल्दी और 17 हल्के कोरोना संक्रमण वाले पुरुषों को इस शामिल किया गया। इन पुरुषों की उम्र 25 से 45 साल के बीच थी। इन लोगों के स्पर्म में मौजूद प्रोटीन की तुलना की गई। किसी को भी पहले प्रजनन क्षमता के अभाव की समस्या नहीं थी। रिसर्चर ने पाया कि कभी संक्रमित नहीं हुए पुरुषों की तुलना में कोविड -19 से उबरे पुरुषों के स्पर्म काउंट में कमी आई थी। उनमें सामान्य आकार के शुक्राणु कम थे। इनके प्रोटीन स्तर में भी बदलाव देखा गया।
चार महीने पहले भी हुई है इस तरह की रिसर्च
चार महीने पहले भी बेल्जियम में एक स्टडी की गई थी। जिसमें बताया गया था कि कोरोना वायरस पुरुषों के स्पर्म काउंट को घटा सकता है। फर्टिलिटी एंड स्टर्लिटी जर्नल में ये रिसर्च पब्लिश हुई थी, जिसमें बेल्जियम के 120 पुरुषों के सैंपल लिए गए थे।