केन्द्र पर गरजीं प्रियंका गांधी, कहा- संसद में हुआ मेरी मां का अपमान, शहीद के बेटे को कहा गया मीर जाफर
दिल्ली के राजघाट पर राहुल गांधी के समर्थन में सत्याग्रह प्रदर्शन जारी है। इस दौरान कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने भाजपा पर जमकर हमला बोला है। उन्होंने भाजपा के परिवार वाद वाले आरोप को लेकर घेरा और तीखा हमला किया है।
दिल्ली के राजघाट पर राहुल गांधी की सदस्यता रद्द करने के विरोध में सत्याग्रह चल रहा है। इस दौरान कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने परिवारवाद को लेकर भाजपा पर जमकर निशाना साधा है। उन्होंने बीजेपी को घेरते हुए कहा कि आप परिवारवाद कहते हैं, तो भगवान राम कौन थे? क्या वे परिवारवादी थे? क्या पांडव परिवारवादी थे? और क्या हमें शर्म आनी चाहिए कि हमारे परिवार के सदस्य इस देश के शहीद हुए हैं।
प्रियंका गांधी ने भाजपा पर साधा निशाना
प्रियंका गांधी ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा, "मेरे परिवार ने इस देश के लोकतंत्र को अपने खून से सींचा है। संसद में मेरे शहीद पिता का अपमान संसद में किया जाता है। शहीद के बेटे का अपमान किया जाता है, उन्हें मीर जाफर कहा जाता है। मेरी मां का अपमान किया जाता है। आपके (भाजपा) मंत्री कहते हैं कि इनके पिता कौन हैं? आपके प्रधानमंत्री गांधी परिवार के लिए कहते हैं कि ये नेहरू उपनाम का इस्तेमाल क्यों नहीं करते? आप पर तो कोई केस नहीं होता, आपकी सदस्यता रद्द नहीं होती।"
याद आई 32 साल पूरानी कहानी
प्रियंका गांधी ने अपने पिता राजीव गांधी के अंतिम संस्कार का किस्सा सुनाया। उन्होंने कहा, "साल 1991 में मेरे पिता का शव तीन मूर्ति से निकल कर जा रहा था, उस दौरान मैं अपनी मां और भाई के साथ गाड़ी में बैठी थी, क्योंकि सुरक्षा का मुद्दा था। सामने से भारतीय सेना का एक ट्रक फूलो से लदा हुआ आगे बढ़ रहा था, जिसमें मेरे पिता का शव रखा हुआ था।"
'पिता की पगड़ी संभालता है बेटा'
उन्होंने बताया, "काफिला कुछ दूर ही गया तभी राहुल कहने लगे कि उनको पैदल इस यात्रा में जाना है, तब मां ने उन्हें रोका क्योंकि सुरक्षा का मामला था, लेकिन वो नहीं माने औक सेना के पीछे चलने लगे थे। कड़ी धूप में भी वो पैदल चलते रहे और 500 गज तक चलने के बाद उनके शहीद पिता का अंतिम संस्कार किया गया था।"
'अदाणी का नाम सुनकर क्यों बौखला जाती है भाजपा'
उन्होंने कहा, "अहंकारी, तानाशाह जब जवाब नहीं दे पाते, तो पूरी सत्ता को लेकर जनता को दबाने की कोशिश करते हैं। आपने कभी सोचा है ये पूरी सरकार एक आदमी को बचाने की इतनी कोशिश क्यों कर रही है? इस अदाणी में है क्या कि आप इसे देश की सारी संपत्ति दे रहे हैं। ये अडानी है कौन कि इनका नाम सुनते ही आप बौखला जाते हैं?"