लखनऊ: वरिष्ठ रंगकर्मी पद्मश्री राज बिसारिया का बैकुंठ धाम में हुआ अंतिम संस्कार, लोगों ने नम आंखों से दी विदाई
सुप्रसिद्ध रंगकर्मी पद्मश्री राज बिसारिया का शनिवार दोपहर बैकुंठ धाम में अंतिम संस्कार किया गया। उनके शिष्य आशीष तिवारी ने उन्हें मुखाग्नि दी। उनकी अंतिम यात्रा में बड़ी संख्या में रंगकर्मी उनके शिष्य परिवारीजन और शुभचिंतक शामिल हुए। शुक्रवार को उन्होंने आखिरी सांस ली थी। वह लंबे समय से बीमारी से जूझ रहे थे और अस्पताल में भर्ती थे।
सुप्रसिद्ध रंगकर्मी पद्मश्री राज बिसारिया का शनिवार दोपहर बैकुंठ धाम में अंतिम संस्कार किया गया। उनके शिष्य आशीष तिवारी ने उन्हें मुखाग्नि दी। उनकी अंतिम यात्रा में बड़ी संख्या में रंगकर्मी, उनके शिष्य, परिवारीजन और शुभचिंतक शामिल हुए।
इससे पहले उनके पार्थिव शरीर को भारतेंदु नाट्य अकादमी (बीएनए) लाया गया। यहां मंत्रोच्चार के बीच पुष्पचक्र और फूल-मालाएं अर्पित की गईं। लोगों ने अंतिम दर्शन कर उन्हें नमन किया। बीएनए के विद्यार्थियों ने शांति पाठ किया।
अंतिम यात्रा में शामिल हुए ये लोग
अंतिम यात्रा में फिल्मकार मुजफ्फर अली, वरिष्ठ रंगकर्मी अनिल रस्तोगी, सूर्य मोहन कुलश्रेष्ठ, संगम बहुगुणा, इतिहासकार रवि भट्ट, विनोद मिश्र, अतुल तिवारी, आत्मजीत, भूपेंद्र अस्थाना, रवि गुप्ता, अजय शर्मा, कमलेश मिश्रा, शशांक बहुगुणा, सुरेंद्र श्रीवास्तव, सिद्धार्थ गौतम, अरुण त्रिवेदी, मृदुला भारद्वाज, आलोक श्रीवास्तव आदि शामिल हुए।
सांस रोग से पीड़ित थे राज बिसारिया
राज बिसारिया का शुक्रवार शाम को निधन हो गया था। उन्होंने विशालखंड, गोमतीनगर में अपने घर पर अंतिम सांस ली थी। वह पेट व सांस रोग से पीड़ित थे। राज बिसारिया को सांस लेने में भी तकलीफ थी। तीन वर्ष पहले मेदांता अस्पताल में उनकी एंजियोप्लास्टी की गई थी।
तीन दिन पहले ले जाया गया था अस्पताल
इन दिनों उनका उपचार संजय गांधी परास्नातक आयुर्विज्ञान संस्थान (एसजीपीजीआइएमएस) में चल रहा था। तीन दिन पहले अस्पताल से घर लाया गया था। पहले वह लालबाग में नावेल्टी सिनेमा हॉल के पास रहते थे। कुछ वर्षों पूर्व विशाल खंड, गोमतीनगर में अपने नए मकान में आए थे। यहां वह पत्नी किरन के साथ रहते थे। उनकी बेटी राजीना पति विवेक व बेटी के साथ अमेरिका में रहती हैं।
पद्मश्री समेत कई पुरस्कारों से थे सम्मानित
राज बिसारिया को वर्ष 1990 में पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। इसके अलावा यशभारती, संगीत नाटक अकादमी सम्मान, कालिदास सम्मान, आदित्य बिड़ला सम्मान, राष्ट्रीय नाट्य विद्यालय सम्मान सहित कई सम्मान उन्हें मिले थे।