भारत को धमकी देने के 55 दिन बाद ही ढेर हुआ जवाहिरी, जानें नुपुर शर्मा पर क्या बोला था अलकायदा सरगना
55 दिन पहले यानी सात जून को भारत के कई राज्यों में बम धमाके करने की धमकी दी थी। जवाहिरी ने भारत को दहलाने की पूरी साजिश कर रखी थी।
आतंकवादी संगठन अल कायदा का सरगना अयमान अल जवाहिरी को अमेरिका ने मार गिराया। अमेरिकी सेना ने काबुल में ड्रोन स्ट्राइक के जरिए इस मिशन को अंजाम दिया। अल-जवाहिरी की मौत की पुष्टि खुद अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने की है। मिशन की सबसे खास बात यह है कि अमेरिका ने बिना किसी धमाके और किसी को नुकसान पहुंचाए बिना ही अल-जवाहिरी को मौत की नींद सुला दिया।
ये वही जवाहिरी था जिसने 55 दिन पहले यानी सात जून को भारत के कई राज्यों में बम धमाके करने की धमकी दी थी। जवाहिरी ने भारत को दहलाने की पूरी साजिश कर रखी थी। खुलेआम इसका एलान भी किया था। जवाहिरी भारत के खिलाफ कोई कदम उठाता, इससे पहले अमेरिका ने उसे मार गिराया।
पहले जानिए जवाहिरी ने भारत को क्या धमकी दी थी?
जून में भाजपा की पूर्व प्रवक्ता नुपुर शर्मा के बयान को लेकर पूरी दुनिया में हलचल थी। नुपुर पर पैगम्बर मोहम्मद के खिलाफ विवादित टिप्पणी करने का आरोप है। नुपुर के बयान के बाद सात जून को जवाहिरी की अगुआई वाली आतंकी संगठन अल कायदा ने भारत में आत्मघाती हमले की धमकी दी। अलकायदा ने बम धमाके कर हिंदुओ को मारकर पैगंबर की बेअदबी का बदला लेने का ऐलान किया था। चिट्ठी में दिल्ली, मुंबई, यूपी और गुजरात जैसे राज्यों में हमले करने की धमकी दी गई थी।
रविवार को ही मारा गया था जवाहिरी
अमेरिका ने अल-जवाहिरी की मौत की कहानी पहले ही लिख ली थी। अमेरिका सेना की पूरी तैयारी थी। बस देरी मौका मिलने की थी। रविवार को जवाहिरी काबुल स्थित अपने घर की बालकनी में आया। जैसे ही वो बालकनी में दिखा, अमेरिकी सेना ने ड्रोन से अटैक कर दिया। इसके बाद 48 घंटे तक पूरी दुनिया से अमेरिका ने इस खबर को छिपाए रखा। इस दौरान अमेरिका पूरी तरह से पुष्टि कर लेना चाहता था कि उसका ये हमला सफल हुआ या नहीं। जब पूरी तरह से अमेरिकी सेना को यह मालूम चल गया कि जवाहिरी मारा गया, तब राष्ट्रपति जो बाइडेन ने प्रेस के जरिए पूरी दुनिया को इस ऑपरेशन की जानकारी दी।
इस खास तकनीक से मारा गया जवाहिरी
रिपोर्ट में कहा गया है कि अल-जवाहिरी की मौत की अब तक जो तस्वीरें सामने आई हैं, उसमें न ही किसी विस्फोट के निशान मिले हैं और न ही किसी खून-खराबे के। इसके बावजूद सीआईए ने इस मिशन को अंजाम दिया। दरअसल, ड्रोन हमले के लिए अमेरिका ने अपनी खतरनाक हेलफायर आर9एक्स मिसाइल का इस्तेमाल किया। यह मिसाइल अन्य मिसाइलों की तरह विस्फोट नहीं करती। बल्कि, इसके अंदर से चाकू जैसे ब्लेड्स निकलते हैं, जो टारगेट पर सटीक निशाना लगाते हैं। हेलफायर मशीन को काफी घातक और टारगेट पर सटीक निशाना लगाने के लिए ही पहचाना जाता है। इससे आसपास के लोगों को कोई चोट नहीं पहुंचती है। अपने संबोधन में, जो बाइडन ने कहा भी है कि सटीक हमले में जवाहिरी के परिवार के सदस्यों के अलावा किसी अन्य नागरिक को कोई नुकसान नहीं हुआ।